10 चाय बागानों के मजदूरों ने शुरू की भूख हड़ताल

दार्जिलिंग हिल्स में 10 चाय बागानों के मज़दूर सोमवार से भूख हड़ताल पर हैं।

भूख हड़ताल पर बैठे मज़दूरों का कहना है कि उसको पिछले दो महीनों से मजदूरी और बकाया वेतन का भुगतान नहीं किया गया है।

सभी चाय बागानों के मज़दूर बीते 13 अगस्त से भारतीय गोरखा प्रजातांत्रिक मोर्चा से संबद्ध हिमालय तराई डूअर्स प्लांटेशन वर्कर्स यूनियन (HTDPWU) के बनेर तले दार्जिलिंग में जिला कलेक्ट्रेट के सामने अपनी मांगो को ले कर प्रदर्शन कर रहे हैं।

मुख्य रूप से दो बागानों के 5 मजदूर अगले पांच दिनों तक भूख हड़ताल करेंगे।

10 सितंबर को विशाल प्रदर्शन का ऐलान

मिलेनियम पोस्ट से मिली जानकारी के अनुसार HTDPWU के अध्यक्ष जेबी तमांग ने कहा है कि “अगर हमारी मांगें नहीं मानी जाती हैं तो आगामी 10 सितंबर को विशाल विरोध प्रदर्शन का आवाह्न किया जायेगा।”

तमांग का कहना है कि यूनियन ने प्रबंधन को पत्र लिखकर बकाया वेतन, वेतन, पीएफ और ग्रेच्युटी सहित बकाया राशि जारी करने की मांगा की है। उनका कहना है कि न केवल 10 चाय बागानों के मज़दूरों का बल्कि इससे सम्बन्धी कारखानों में काम करने वाले मज़दूरों के वेतन का भुगतान भी नहीं किया गया है।

यूनियन का आरोप है कि “कारखानों में मशीनों को चलाने के लिए ईंधन भी उपलब्ध नहीं कराया जा रहा था। जिसकी वजह से कारखाने और उद्यान ठप हो गए थे।”

यूनियन की मांग है कि “जल्द से जल्द मज़दूरों को उनके वेतन का भुगतान किया जाना चाहिए। साथ ही बागानों के पट्टा रद्द किया जाना चाहिए।”

ममता बनर्जी को भी  लिखा था पत्र

प्रदर्शन कर रहे मज़दूरों की समस्या का संज्ञान लेते हुए जीटीए प्रमुख अनीत थापा ने इस संबंध में मुख्यमंत्री ममता बनर्जी को भी पत्र लिखा था।

यूनियन सदस्यों ने बताया कि बीती 27 अगस्त को दार्जिलिंग के डीएम ने कंपनी के प्रबंधन को पत्र लिखकर 2 सितंबर को सुनवाई के लिए पेश होने को कहा था।

साथ ही उन्होंने एक पखवाड़े का बकाया वेतन इसी बुधवार को देने का आश्वासन दिया था। लेकिन अभी तक मज़दूरों को उनके बकाया वेतन का भुगतान नहीं किया गया है।

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