वेतन न मिलने से नाराज मज़दूरों का कंपनी के गेट पर प्रदर्शन

फरीदाबाद की सिएट्ज कंपनी के चालीस मज़दूरों ने कहा, हक मारना चाहती है कंपनी

फरीदाबाद में सिएट्ज कंपनी में काम करने वाले चालीस मज़दूरों ने समय पर वेतन का भुगतान न होने पर कंपनी के गेट पर प्रदर्शन किया।

लोकल चैनल सिटी न्यूज के मुताबिक, मज़दूरों ने कहा कि कंपनी प्रबंधन आमतौर पर सात से नौ तारीख तक वेतन देता है लेकिन इस बार उन्हें 17 तारीख तक वेतन नहीं दिया गया है।

परेशान मज़दूर जब बुधवार को कंपनी के एचआर के पास वेतन की मांग के लिए पहुंचे तो उन्हें गेट से बाहर जाने के लिए कहा गया।

उनसे कहा गया उन्हें कंपनी के गेट पर भी खडे होने का अधिकार नहीं है और अगर वे दस दिनों तक भी प्रदर्शन करते हैं तो उन्हें वेतन नहीं दिया जाएगा।

मज़दूरों का कहना है कि वे पहले कंपनी के पे रोल पर थे, बाद में पिछले साल दिसंबर से उन्हें कांट्रैक्ट पर कर दिया गया।

हालांकि कंपनी ने उन्हें भरोसा दिलाया था कि अगर कांट्रैक्टर कोई गड़बड़ी करता है तो मज़दूरों की नौकरी और वेतन पर कोई संकट नहीं आएगा।

लगभग एक सप्ताह पहले कांट्रैक्टर ने कंपनी से संबंध तोड़ लिया, और अब वह मज़दूरों को वेतन दिलाने की मांग के लिए कंपनी के ऑफिस भी नहीं आ रहा।

बाहर से आकर इंडस्ट्रियल सिटी में काम करने वाले मजदूरों को दूसरे सप्ताह तक वेतन नहीं मिलने से उनके जरूरी कामों पर असर पड़ रहा है, कुछ के परिवारों की तो भूखे रहने की नौबत आ गई।

सेक्टर-21 ए में मथुरा रोड पर स्थित सिएट्ज टेक्नोलॉजिस प्राइवेट लिमिटेड में ट्रैक्टर के पार्ट तैयार किए जाते हैं।

मज़दूरों के मुताबिक, कंपनी में वेतन रोकने या काटने का यह कोई पहला मामला नहीं है, दो साल पहले भी कई मज़दूरों के साथ ऐसा किया जा चुका है।

उन्हें शक है कि इस बार भी कंपनी ऐसा ही करना चाहती है।

इस बारे में कंपनी के एचआर की दलील है कि प्रदर्शन करने वाले मजदूर कांट्रैक्चुअल कर्मचारी हैं।

उसका कहना है कि कांट्रैक्टर के बिना बताए भाग जाने से इन मज़दूरों के बिल में समस्या खड़ी हो गई है, जिसके लिए प्रबंधन से बातचीत चल रही है।

एचआर के मुताबिक, मज़दूरों के वेतन का निपटारा करने में ज्यादा समय नहीं लगेगा और इस मामले को एक- दो दिन में सुलझा लिया जाएगा।

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