साक्षरता दिवस पर केंद्रीय शिक्षामंत्री की किरकिरी, 5.5 लाख बेरोजगार प्रेरकों ने लताड़ा

By आशीष आनंद

आठ सितंबर को विश्व साक्षरता दिवस के मौके पर केंद्रीय शिक्षामंत्री डॉ.रमेश पोखरियाल की सोशल मीडिया पर जमकर किरकिरी हुई। उनकी ओर से जैसे ही साक्षरता दिवस की बधाई दी गई, तीन साल से घर बैठे बेरोजगार साढ़े पांच लाख प्रेरकों का गुस्सा फूट पड़ा।

उनके साथ-साथ दूसरे बेरोजगार भी शिक्षामंत्री को खरी-खोटी सुनाने को टूट पड़े। हालांकि कुछ लोगों ने बेरुखी से बधाई का जवाब दिया तो कुछ ने बचाव करने में फजीहत करा ली। यहां हम केंद्रीय शिक्षामंत्री की बधाई के जवाब में दिए गए कुछ कमेंट दे रहे हैं।

बबिता सिंह लिखती हैं, ‘सर 5.5 लाख साक्षरता प्रेरक बेरोजगार कर दिए हैं। जिन्होंने निरक्षरता का कलंक मिटाया आज वही प्रेरक समन्वयक दर दर की ठोकर खाने पर मजबूर हैं। सर बधाई नहीं हमें पूर्ण रोजगार चाहिए।’

सुनील श्रीवास्तव ने लिखा, ‘ विश्व साक्षरता दिवस पर निरक्षरों को साक्षर करनेवाले सभी शिक्षा प्रेरक को बधाई ……
साक्षरता की अलख जगाने व सरकार की योजनाओं को घर घर प्रचार प्रसार कर लोगों को जागरूक करने वाले …शिक्षा प्रेरकों…को बेरोजगार करने वाली सरकार को बहुत बहुत बधाई …

मात्र दो हजार रुपये मे कार्य कर रहे थे जब आप उनका रोजगार छीन लिए तो आगे आपसे कोई उम्मीद रखना बेमानी हैं ….खैर इसी से भारत सरकार की अर्थव्यवस्था सुधर जाए …..आपका ये कार्य भी स्वर्ण अक्षरों मे लिखा जाएगा ……सर आप सबको बहुत बहुत बधाई कि इतनी मेहनत से रात दिन एक करके बेरोजगार करने कर कार्य किया…जय हिन्द’

भारत चौरसिया ने लिखा, ‘ मा0 मंत्री महोदय, नई शिक्षा नीति में इसके लिए क्या गाइड लाइन बनाई गई है? देश भर के 28,27,00912 ( अ_ाइस करोड़, सत्ताईस लाख, नौ सौ बारह ) निरक्षर आपसे जानने की जिज्ञासा में है। उनकी जिज्ञासा का समाधान सार्वजनिक रूप से करने की कृपा करें, यदि रंचित मात्र की भी शर्म बची हो तो’

एसपी सारंग ने दो टूट सवाल दागा, ‘भले सरकार साक्षरता दर बढ़ा लें परन्तु जो शिक्षित हैं उन्हें कहां नौकरी मिली है।’

प्रियांक सिंह चौहान ने लिखा, ‘माननीय मंत्री जी दिल्ली में भाजपा की सरकार नहीं हैं। वहां की सरकार फिजिकल एजुकेशन विषय को अनिवार्य किया है और सभी प्राथमिक स्कूलों मे एक शारीरिक शिक्षक नियुक्ति करने जा रही हैं। उन्हें बच्चों मे अच्छे स्वास्थ्य की चिंता हैं।

आपके सभी नेता व मंत्री केवल मोदी जी की चापलूसी करना जानते हैं। कोई एक प्रदेश का नाम बता दो जहां भाजपा सरकार हो और वहां शारीरिक शिक्षकों की भर्ती की हो? जहां जहां बीजेपी की सरकार नहीं हैं वहां की सरकार शारीरिक शिक्षकों की नियुक्ति कर रही हैं? बात ये फिट इंडिया , खेलो इंडिया, योगा की करेंगे। वो भी बिना शारीरिक शिक्षकों के?’

साजिद जमाल ने लिखा, केन्द्र सरकार मदरसा आधुनिक शिक्षकों का 50 माह का वेतन जल्द से जल्द रिलीज करे। माननीय प्रधानमंत्री जी आप की सरकार में एक शिक्षक वर्ग 50 माह से शिक्षा मंत्रालय से वेतन न मिलने से वंचित है।

शुभम शुक्ला ने ये कहकर लताड़ा, ‘100 प्रतिशत साक्षरता कभी नही पहुंच सकती क्योंकि तुम जैसे गं…र जब तक कुर्सी पर बैठे हैं, ये बात भी सिर्फ एक जुमला है।’

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